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हमास ने इजराइल पर दागे 200 रॉकेट ,10 बच्चों समेत 32 फिलिस्तीनियों की मौत इमरजेंसी घोषित




इसराईल ने मंगलवार को गाजा पट्टी पर हवाई हमले तेज कर दिए। उसने दो बहुमंजिला इमारतों को निशाना बनाया जिनके बारे में उसका मानना था कि उसका इस्तेमाल हमास के चरमपंथी करते थे और उनके ठिकानों में कम से कम तीन चरमपंथियों को मार गिराया। वहीं, फिलस्तीन की ओर से इसराईल में भी लगातार रॉकेट हमले हुए। दोनों शत्रुओं के बीच 2014 के बाद से यह सबसे बड़ी लड़ाई है और इसके कम होने के कोई संकेत नहीं दिखे हैं। इसराईल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने हमले तेज करने का आह्वान किया जबकि गाजा के चरमपंथियों ने देर रात तक रॉकेट दागे जिससे घनी आबादी वाले तेल अवीव इलाके में विस्फोटों की आवाज सुनाई देती रही।


फिलिस्तीनी आतंकवादी समूह हमास ने बुधवार को कहा कि उसने गाजा में एक टॉवर ब्लॉक पर हमले के लिए जवाबी कार्रवाई में इजरायल में 200 से अधिक रॉकेट दागे। हमास की सशस्त्र शाखा ने एक बयान में कहा कि यह "तेल अवीव शहर की ओर 110 रॉकेट दागे जाने की प्रक्रिया में जवाब था ।


हमलों में 200 से अधिक घायल, तेल अवीव के पास एमरजेंसी घोषित


इसराईल ने तेल अवीव के पास स्थित अपने शहर लोड में दंगे के बाद इमरजेंसी घोषित कर दी है।लोड में कारों को जला दिया गया है और 12 लोग झड़पों में घायल हैं। शहर के मेयर का कहना है कि शहर में गृह युद्ध की स्थिति बन गई है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि रॉकेट हमले में इसराईल में तीन महिलाओं की मौत हो गई और दर्जनों लोग घायल हो गए। गाजा में 10 बच्चों समेत 32 फलस्तीनियों की मौत हो गई। 200 से अधिक लोग घायल हुए हैं। इसराईल और हमास के बीच यह लड़ाई 2014 की गर्मियों में 50 दिन तक चले युद्ध से ज्यादा भयंकर है। यरुशलम में धार्मिक तनाव से पैदा हुई यह हिंसा विध्वंसक युद्ध की याद दिलाती है। गाजा में दिन भर इसराईली हवाई हमलों की आवाज सुनी गई और जिन इमारतों को निशाना बनाया गया, वहां से धुएं का गुबार उठता देखा गया।




नेतन्याहू की चेतावनी- चरमपंथी समूहों को चुकानी पड़ेगी भारी कीमत


राष्ट्रीय टेलीविजन पर प्रसारित भाषण में नेतन्याहू ने कहा कि हमास और छोटे इस्लामिक जिहादी चरमपंथी समूहों ने ''कीमत चुकाई है और मैं आपको यहां बता दूं कि वे अपनी आक्रामकता के लिए भारी कीमत चुकाएंगे।'' उन्होंने दावा किया कि इसराईल ने दर्जनों चरमपंथियों को मार गिराया और उनके सैकड़ों ठिकानों को भारी नुकसान पहुंचाया है। उन्होंने कहा, ''इस अभियान में वक्त लगेगा। दृढ़ संकल्प, एकता और ताकत से हम इसराईल के नागरिकों की सुरक्षा बहाल करेंगे।'' वह एकता के प्रदर्शन के तौर पर राजनीतिक प्रतिद्वंद्वी एवं रक्षा मंत्री बेनी गैंट्ज के साथ खड़े दिखाई दिए।


यह तो बस शुरुआत, और बढ़ेगा सैन्य अभियान का दायराः रक्षा मंत्री बेनी गैंट्ज


रक्षा मंत्री बेनी गैंट्ज ने कहा, ''कई ठिकानों को निशाना बनाया जाना है। यह तो बस शुरुआत है।'' वहीं तनाव के और बढ़ने का संकेत देते हुए इसराईल ने सैन्य अभियान का दायरा बढ़ाने की बात कही है। सेना ने कहा कि वह गाजा सीमा पर अपने सैनिकों की संख्या बढ़ा रही है और रक्षा मंत्री ने 5000 आरक्षित सैनिकों को वहां भेजने का आदेश दिया है। यह हिंसा ऐसे समय पर हो रही है जब रमजान चल रहा है। आलोचकों का कहना है कि यरुशलम में और उसके आसपास इसराईली पुलिस की असंवेदनशीलता के कारण अशांति फैली। वहीं पूर्वी यरुशलम के पास शेख जर्रा में भी हिंसा के हालात बने जहां बड़ी संख्या में फलस्तीनियों को यहूदी निवासियों द्वारा निकाले जाने का खतरा है। गत सप्ताहांत अल अक्सा मस्जिद में झड़प हुई थी। चार दिनों तक इसराईली पुलिस ने फिलीस्तीनियों पर आंसू गैस के गोले और हथगोले दागे। सोमवार शाम से हमास ने गाजा से रॉकेट दागने शुरू कर दिए और यहां से तनाव बढ़ता चला गया।

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